इस आरक्षण के दायरे में सभी आएंगे, सिर्फ एक समुदाय नहीं: रामलिंगा रेड्डी

इस आरक्षण के दायरे में सभी आएंगे, सिर्फ एक समुदाय नहीं: रामलिंगा रेड्डी

बेंगलूरु/शुभ लाभ ब्यूरो| कर्नाटक सरकार द्वारा सरकारी अनुबंधों में अल्पसंख्यकों के लिए ४ प्रतिशत आरक्षण को मंजूरी दिए जाने के बाद राज्य के मंत्री रामलिंगा रेड्डी ने सोमवार को कहा कि सभी ५ से ६ अल्पसंख्यक समुदाय इस आरक्षण के अंतर्गत आएंगे|

रामलिंगा रेड्डी ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा, भाजपा हमेशा बकवास करती है| एससी/एसटी के लिए आरक्षण है| अब, हमने अल्पसंख्यकों को आरक्षण दिया है| ५ से ६ अल्पसंख्यक समुदाय हैं| सभी इस आरक्षण के अंतर्गत आएंगे, न कि केवल एक समुदाय| इससे पहले, भारतीय जनता पार्टी कर्नाटक के अध्यक्ष बीवाई विजयेंद्र ने कहा कि भाजपा कांग्रेस की मुस्लिम तुष्टिकरण की राजनीति का विरोध करेगी|

विजयेंद्र ने संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा भाजपा मुसलमानों के खिलाफ नहीं है, लेकिन हम कांग्रेस की मुस्लिम तुष्टिकरण की राजनीति के खिलाफ हैं| रविवार को मैं उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार को देख रहा था| उन्होंने बीजेपी को मुस्लिम समुदाय को बड़े पद देने की चुनौती दी थी| उन्होंने बीजेपी को मुस्लिम समुदाय को एमएलसी और राज्यसभा सांसद देने की चुनौती दी थी| मैं उन्हें याद दिलाना चाहता हूं कि यह बीजेपी ही है जिसने डॉ. अब्दुल कलाम को राष्ट्रपति और नजमा हेपतुल्ला, जस्टिस एस. अब्दुल नजीर और मोहम्मद आरिफ खान को राज्यों का राज्यपाल नियुक्त किया था| उन्होंने कहा हम इस मुद्दे पर बहुत स्पष्ट हैं और हम निश्चित रूप से कांग्रेस की मुस्लिम तुष्टिकरण की राजनीति का विरोध करेंगे| सरकारी ठेकों में ४ प्रतिशत आरक्षण देने का प्रावधान कहां है? क्या यह संवैधानिक है? हम इस कदम का विरोध करने जा रहे हैं| कर्नाटक विधानसभा में विपक्ष के नेता आर अशोक ने आरोप लगाया कि कांग्रेस समाज को धार्मिक आधार पर बांट रही है| हालांकि बाबासाहेब अंबेडकर ने स्वयं कहा था कि धर्म के आधार पर आरक्षण देना संविधान की मंशा के पूरी तरह खिलाफ है, लेकिन सीएम सिद्धरामैया की अगुवाई वाली कांग्रेस सरकार मुसलमानों को ठेके के कामों में ४ फीसदी आरक्षण दे रही है| यह पार्टी की संविधान विरोधी मानसिकता का सबूत है| जिस तरह नेहरू और जिन्ना ने स्वार्थ के लिए भारत को बांटा, आज कर्नाटक में देशद्रोही सीएम सिद्धरामैया और डीसीएम डीके शिवकुमार समाज को धर्म के आधार पर बांटने पर तुले हैं|

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