कुमारस्वामी ने सर्वेक्षण रिपोर्ट लीक की जांच की मांग की
बेंगलूरु/शुभ लाभ ब्यूरो| केंद्रीय भारी उद्योग और इस्पात मंत्री एच.डी. कुमारस्वामी ने मुख्यमंत्री सिद्धरामैया से राज्य स्थायी पिछड़ा वर्ग आयोग द्वारा सरकार को सौंपी गई सामाजिक एवं शैक्षिक सर्वेक्षण रिपोर्ट के लीक होने की तत्काल जांच करने का आग्रह किया है| उन्होंने इस संबंध में एक प्रेस बयान जारी कर पूछा क्या आयोग से कोई जानकारी लीक हुई थी? या फिर यह लीक कैबिनेट मंत्रियों के शामिल होने के बाद हुई? या फिर आपका गिरोह चतुर है? क्या आप कैबिनेट की बैठक में जांच के बारे में कोई निर्णय लेंगे?
उन्होंने सिद्धरामैया पर हमला करते हुए कहा कि उन्हें खुद ही यह बात कहनी चाहिए| इसमें कोई संदेह नहीं है कि सर्वेक्षण रिपोर्ट लीक होने के लिए आपकी सरकार जिम्मेदार है| इस लीक हुई रिपोर्ट को किसी भी कारण से कैबिनेट के समक्ष प्रस्तुत नहीं किया जाना चाहिए| उन्होंने कहा इसे पेश करके कैबिनेट की पवित्रता को धूमिल मत कीजिए| आपको शांतिपूर्ण राज्य में आग लगा दी है और जातियों में जहर के बीज बो दिए हैं| यह आपकी दुष्टता की पराकाष्ठा है| उन्होंने इस बात पर आक्रोश व्यक्त किया कि सभी राष्ट्रों के लिए शांति के बगीचे में जो पाप बोया गया है, उसे भुलाया नहीं जाएगा|
संदेह सच निकला| राज्य ने जाति जनगणना कराई| मुख्यमंत्री के अनुसार, यह एक शैक्षिक और आर्थिक सर्वेक्षण था| सिद्धरामैया ने अब अपना रुख पलट दिया है| यह कोई जातिगत सर्वेक्षण नहीं है| उन्होंने व्यंग्यात्मक लहजे में कहा कि वे शैक्षिक एवं आर्थिक सर्वेक्षण नामक एक नई सीटी बजा रहे हैं| तो फिर ये संख्याएं क्या हैं जो इधर-उधर तैर रही हैं, गिर रही हैं और सड़कों पर लुढ़क रही हैं? क्या लीक हुए आंकड़े और मुख्यमंत्री द्वारा उल्लिखित शैक्षिक एवं आर्थिक सर्वेक्षण के आंकड़े एक ही हैं? या नहीं? रिपोर्ट जारी होने से पहले उसे व्यवस्थित तरीके से किसने लीक किया? इसके पीछे का मास्टरमाइंड कौन है? आप सड़क-स्तर के डेटा के साथ क्या करते हैं?